वैशाख अमावस्या पर भक्तों ने लगाई गोरखगिरि परिक्रमा, पितरों को किया गया नमन

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महोबा , हिन्दू नव वर्ष विक्रम संवत 2081 के आगमन के बाद सबसे पहले पड़ने वाली वैशाख अमावस्या पर आज सुबह बुंदेलों ने आध्यात्मिक तीर्थ गोरखगिरि पर्वत की परिक्रमा लगाई एवं पितरों को नमन किया। साथ ही सबके बेहतर स्वास्थ्य व कल्याण के लिए भोलेनाथ से प्रार्थना की।

पांच किलोमीटर लंबी परिक्रमा संपन्न करने के बाद बुंदेली समाज के संयोजक तारा पाटकर बुंदेलखंडी ने कहा कि वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की अमावस्या को वैशाख अमावस्या कहते हैं। यह अमावस्या पितरों को समर्पित होती है। परिक्रमा सुबह तड़के शिवतांडव मंदिर से प्रारंभ हुई और पूरे गोरखगिरि पर्वत का भ्रमण कर वापस शिवतांडव मंदिर पर समाप्त हुई।

बुंदेलों ने रास्ते में आने वाले महावीरन, पठवा के हनुमान जी, केदारेश्वर महादेव, कबीर आश्रम, भूतनाथ आश्रम, सकरे सन्या माता, काली व खो खो माता, छोटी चंडिका देवी, राम दरबार, नाग देवता, बालाजी हनुमान, सुनरा-सुनरिया, नाग देवी व काल भैरव मंदिर में मत्था टेंककर पितरों को नमन किया व सबके बेहतर स्वास्थ्य के लिए प्रार्थना की। इस मौके पर संघ के नगर प्रचारक शिव, भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा के जिलाध्यक्ष दिलीप जैन, हरी शरण सक्सेना, गया प्रसाद कोस्टा, महेन्द्र, प्रेम चौरसिया, सिद्धे, राम किशन सेन, शिवम पुरवार, अवधेश गुप्ता, विपिन, अमरचंद विश्वकर्मा, महेन्द्र व जागेश्वर सोनी समेत तमाम लोग मौजूद रहे।

रिपोर्ट- राकेश कुमार अग्रवाल

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